कहते हैं कि प्यार तो बस हो जाता है, किया नहीं जाता। प्रेम एक भाव है एक लगन। मन के तार जहां जुड़ जाए तो जुड़ जाए। वही जिंदगी सिरोही बंदगी ऐसी ही जिंदगी को व्यक्त करती है Bhojpuri film लैला मजनू (Laila Majnu)।
Laila Majnu Bhojpuri Movie Starcast
फिल्म के मुख्य किरदारों में आपको नजर आएंगे प्रदीप पांडे चिंटू (Pradeep Pandey Chintu), अक्षरा सिंह (Akshara Singh), मनोज टाइगर, आदि और फिल्म के एक स्पेशल सॉन्ग में आपको नजर आएंगे रानी चटर्जी। फिल्म में कहानी और निर्देशन है महमूद आलम का और फिल्म के निर्माता है राजकुमार आर पांडे।
Laila Majnu Film Story
लैला मजनू नाम से ही जाहिर है की फिल्म एक जुनून से भरी प्रेम कहानी होगी। क्या यू कहे है! इससे भी ज्यादा क्योंकि यहां मजनू की दीवानगी लैला को देखकर शुरू नहीं होती। वह तो लैला को बिना देखे ही अपना दिल दे बसता है।
इस फिल्म में प्रदीप पांडे चिंटू एक रिक्शा चलाने वाले के किरदार में है जो है यू तो गोरखपुर से है पर अपने नाटक मंडली के दोस्तों के साथ लखनऊ में रहते हैं। ओरिया और यहां आसपास के एरिया में रिक्शा चलाते हैं।
एक दिन एक दुपट्टा उड़ता हुआ चिंटू के ऊपर गिरता है। चिंटू उसे छूते हैं एक अलगसा लगाओ, एक अलग साथ में पढ़ना महसूस करते हैं। वह बिना मिले बिना जाने उसने दुपट्टे वाली से प्रेम कर बैठते हैं।
एक दिन उन्हें उस दुपट्टे वाली के बारे में खबर मिल जाता है। और पता चलता है कि वह दुपट्टे वाली यानी अक्षरा सिंह उसी शहर के नवाब की बेटी है। अब Chintu और अक्षरा सिंह के बीच नवाबी शानो शौकत की गहरी खाई है। चिंटू उसे भरने के लिए झूठ का सहारा लेते हैं और नकली नवाब बन जाते हैं। कहते हैं की घरवालों से अनबन के कारण वह रिक्शा चलाते हैं।
दोनों की मुलाकाते होने लगती है। पर लैला मजनू की प्यार को स्वीकार नहीं करती। उसे लगता है कि या सच्चा प्यार नहीं है।
एक दिन दोनों मजार पर मिलते हैं जहां सच्चे प्रेमी हाथ पर चलकर पार उतर रहे होते हैं। लैला मजनू के प्यार की परीक्षा लेना चाहती है और उसे इस आग पर चलनी के लिए कहती है। मजनू भी उस आज पर चलकर अपने प्यार की परीक्षा में पास होता है। लैला को यकीन हो जाता है कि मजनू सच में उसे बेइंतहा प्यार करता है और यही सच्चा प्यार है और यहां से दोनों एक दूसरे के हो जाते हैं।
लैला की रिश्ते की बात पहले ही राज सिंह से तय हो चुकी है। पढ़ लैला इस बात को नजरअंदाज कर अपने और मजनू की बात घर में बताती है। पूरे घरवाले लैला की इस बात से नाखुश है, पर उसके चाचू जो उसे बेइंतहा प्यार करते हैं उसे इस बात के लिए सपोर्ट करते हैं अब बारी है नैना की घरवालों से मिलने की उसे बात करने की मजनू अपने झूठ को और भी ज्यादा आगे बढ़ाता है।
मजनू अपनी नाटक मंडली वालों को अपना नकली परिवार बना लेता है जो पहुंचते हैं अक्षरा के घर और इनके रिश्ते के बाद करते हैं। यहां बात पक्की हो जाती है और इस बात से राशिद बहुत परेशान हो जाता है। और वह मजनू के बारे में छानबीन करना शुरू कर देता है। लैला मजनू का निगाह शुरू होता है और यहां पर पहुंचता है राशिद। राशिद सबके सामने कहते हैं कि मजनू मुसलमान नहीं है। यह झूठ बोल रहा है और अगर यह सच्चा मुसलमान है तो इसे कहो यह कलमा पढ़ के सुनाएं।
मजनू यहां कलमा पढ़ के तो सुना देता है। पर खुद ही अपना सच सबके सामने बता देता है और कह देता है कि वह मुसलमान नहीं , एक हिंदू है। उसने यह सब कुछ सिर्फ और सिर्फ लैला के लिए किया है।
लैला उसे थप्पड़ मारती है और वहां से भगा देती है। एक बार फिर से लैला की शादी राशिद से तय हो जाती है। दोनों के निकाह का दिन आ जाता है। ऐसे में लैला की सहेली राशिद और उनके पिता की बातें सुन लेती है। जान से पता चलता है कि यह शादी वह सिर्फ बदला लेने के लिए कर रहा है। निकाह के बाद वह लैला और उसकी फैमिली के टॉर्चर करेंगे। लैला की सहेली यह सारी बात अपने फोन में रिकॉर्ड कर लेती है, और पहुंचती है लैला के पास और उसे सारा सच बताती है। फिर यह रिकॉर्डिंग वह लैला के अब्बू और उसके चाचू को दिखाना चाहती है। पर जैसे ही वह उनके पास पहुंचना चाहती है उसका मोबाइल पानी में गिर जाता है और वह रिकॉर्डिंग नहीं दिखा पाती।
फिल्म में रोमांस के साथ एक्शन भी भरपूर है और थोड़ा कॉमेडी भी आपको गुदगुदाएगी।
फिल्म मैं प्रदीप पांडे चिंटू का अभिनय अच्छा है, अपने चॉकलेट इमेज को बनाए रखने में कामयाब रहे है। अक्षरा सिंह की एक्टिंग आएगी हमेशा की तरह बेहतरीन है। उनका एक्टिंग खूबसूरत है। मनोज टाइगर फिर से अपने किरदार को जीवंत किया है। कादर शेख ने अपने कार्यक्रम में जान भर दी है। उसके मार्बल को बखूबी पेश किया है।
Laila Majnu Bhojpuri Song
गीत संगीत का पक्ष ठीक-ठाक है। एक सोंग के स्पेशल अपीयरेंस में नजर आएंगे सुपरस्टार रानी चटर्जी।इस फिल्म में कुल गाना है।
कथा, पटकथा और निर्देशन की बात की जाए तो इन तीनों बातों के लिए एक इंसान जिम्मेदार है, जिनका नाम है महमूद। आना घटनाओं से भरी कहानी, अच्छे किरदार, अच्छे लोकेशन, फिल्में पेश इन सभी के पीछे डायरेक्टर महबूब आलम का विजन साफ दिखाई देता है।